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Breaking News 10 May 2025

1.) भारत में इस बार IPL होगा या कहीं बाहर ,जानें सबकुछ

बीसीसीआई ने बड़ा फैसला लेते हुए आईपीएल 2025 को तत्काल प्रभाव से सस्पेंड कर दिया है। क्रिकेट प्रेमियों के लिए यह किसी सदमे से कम नहीं, लेकिन वक्त की मांग यही है। बीसीसीआई ने अपनी आधिकारिक स्टेटमेंट में साफ किया है कि टूर्नामेंट फिलहाल एक सप्ताह के लिए रोका गया है। अब तक कुल 57 मुकाबले खेले जा चुके हैं, जबकि धर्मशाला में दिल्ली कैपिटल्स बनाम पंजाब किंग्स का मैच सुरक्षा कारणों से रद्द कर दिया गया था। लेकिन बीसीसीआई ने यह भी स्पष्ट कर दिया है कि एक सप्ताह के बाद भी आईपीएल की वापसी की कोई गारंटी नहीं है।

दोबारा कब शुरू हो सकता है IPL 2025?

क्रिकेट गलियारों में चर्चाएं हैं कि IPL 2025 के बचे हुए मैच भारत-इंग्लैंड टेस्ट सीरीज़, बांग्लादेश दौरे या फिर एशिया कप के बाद कराए जा सकते हैं। हालांकि BCCI की ओर से इस पर कोई ठोस घोषणा नहीं की गई है । आईपीएल चेयरमैन अरुण सिंह धूमल ने कहा, “मौजूदा हालातों में मैचों का आयोजन मुनासिब नहीं है। हम पूरी तरह भारत सरकार और भारतीय सेना के साथ खड़े हैं। अभी हमारी प्राथमिकता सिर्फ देश है।” धूमल ने यह भी संकेत दिया कि 2021 की तरह इस बार भी वेन्यू शिफ्ट किया जा सकता है, जब कोविड के कारण आईपीएल के बचे हुए मैच यूएई में आयोजित किए गए थे।

 

2.)  क्या पाकिस्तान के सर से सऊदी अरब का भी हाथ हटा 

 

 भारत की वायुसेना ने पाकिस्तान के दो फाइटर जेट्स को मार गिराया है जो भारतीय सीमा में घुसपैठ की कोशिश कर रहे थे। देश के कई हिस्सों में पाकिस्तानी ड्रोन के मलबे मिले हैं, जो इस बात का प्रमाण हैं कि पाकिस्तान रात के अंधेरे में भारतीय शहरों पर वार कर रहा है। लेकिन भारत की ओर से की गई जवाबी कार्रवाई ने न केवल पाकिस्तान को झकझोर कर रख दिया, बल्कि अंतरराष्ट्रीय मंच पर भी हलचल पैदा कर दी है। युद्ध के इस बढ़ते तापमान के बीच अब सऊदी अरब ने मध्यस्थ की भूमिका में प्रवेश किया है। भारत यात्रा के ठीक एक दिन बाद, सऊदी अरब के उप विदेश मंत्री आदिल अल जुबैर शुक्रवार को सीधे पाकिस्तान की राजधानी इस्लामाबाद पहुंचे। इस दौरे की गंभीरता का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि इस्लामाबाद एयरपोर्ट पर उनकी अगवानी खुद प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ और सेना प्रमुख जनरल असीम मुनीर ने की। सूत्रों के मुताबिक, आदिल अल जुबैर ने पाकिस्तान को साफ शब्दों में चेताया कि युद्ध पाकिस्तान के हित में नहीं है। मुलाकात के दौरान जुबैर ने नर्मी छोड़ कड़ी भाषा अपनाई और स्पष्ट कर दिया कि अगर पाकिस्तान इस युद्ध को जारी रखता है, तो वह अपने ही विनाश की ओर बढ़ेगा। उस बैठक में पाकिस्तानी लीडरशिप की खामोशी, उनके डर और असहायता की गवाही देती नज़र आई । गौरतलब है कि इस्लामाबाद यात्रा से ठीक एक दिन पहले, 8 मई को, सऊदी मंत्री भारत में थे। उन्होंने नई दिल्ली में विदेश मंत्री एस जयशंकर से मुलाकात की और भारत-पाक युद्ध की परिस्थितियों पर बातचीत की। इस बातचीत के दौरान जयशंकर ने स्पष्ट कर दिया कि भारत अपने ‘ऑपरेशन सिंदूर’ पर अडिग है, और यदि पाकिस्तान ने जवाबी हमला करने की कोशिश की, तो भारत उसे "कहीं का नहीं छोड़ेगा।" यह संदेश जुबैर ने पाकिस्तान की सत्ता के शीर्ष पर बैठे दोनों प्रमुखों प्रधानमंत्री और सेना प्रमुख तक पहुंचा दिया। कूटनीतिक भाषा में यह एक साफ इशारा है कि अंतरराष्ट्रीय मंच पर पाकिस्तान की नापसंदगी बढ़ रही है, और भारत को नैतिक समर्थन मिल रहा है।

 

3.)  रोहित शर्मा ने क्यों लिया संन्यास ? 

 

7 मई 2025 यह तारीख अब भारतीय क्रिकेट फैंस के लिए महज एक तारीख नहीं, बल्कि एक युग के अंत की तरह दर्ज हो चुकी है। इसी दिन टीम इंडिया के सीनियर खिलाड़ी और टेस्ट कप्तान रोहित शर्मा ने टेस्ट क्रिकेट से संन्यास की घोषणा कर दी। उन्होंने सोशल मीडिया पर एक भावुक पोस्ट शेयर कर यह जानकारी दी कि अब वह भारत के लिए लाल गेंद से टेस्ट मैच नहीं खेलेंगे। उनके इस फैसले ने लाखों क्रिकेट प्रेमियों के दिल को तोड़ दिया। रोहित का टेस्ट करियर साल 2013 में शुरू हुआ था, जब उन्होंने वेस्टइंडीज के खिलाफ मास्टर ब्लास्टर सचिन तेंदुलकर के विदाई टेस्ट में डेब्यू किया था। तब से लेकर अब तक उन्होंने जो योगदान दिया, वह सिर्फ आंकड़ों में नहीं मापा जा सकता—वो संयम, तकनीक, और क्लासिक बैटिंग का प्रतीक बन चुके थे। उनके संन्यास की खबर के साथ ही सोशल मीडिया पर एक वीडियो वायरल हो गया, जिसमें उनकी एक फैन फूट-फूटकर रो रही है। वीडियो में वह कहती है—“मां, रोहित शर्मा ने टेस्ट क्रिकेट से संन्यास ले लिया है... मुझे अब कुछ अच्छा नहीं लग रहा... मेरा सपना अधूरा रह गया।” उस लड़की की आंखों में सिर्फ आंसू नहीं थे, बल्कि उस सपने की राख थी, जिसमें वह रोहित को एक बार लाल जर्सी में खेलते हुए स्टेडियम में देखना चाहती थी। उसकी मां ने समझाने की कोशिश की—“तो क्या हुआ बेटा, वो वनडे तो खेलते रहेंगे”—लेकिन लड़की का दर्द और बढ़ गया। उसने कहा, “आप नहीं समझेंगी मां, मैं चाहती थी कि रोहित शर्मा वर्ल्ड टेस्ट चैंपियनशिप जिताएं। वो पहले भारतीय कप्तान बनें जो इस खिताब को देश में लाएं।” यह सिर्फ एक फैन की बात नहीं थी, बल्कि करोड़ों क्रिकेट प्रेमियों की इच्छा थी—जो अधूरी रह गई। अगर उनके आंकड़ों की बात करें तो रोहित शर्मा ने अपने टेस्ट करियर में कुल 67 टेस्ट मैच खेले, जिनमें उन्होंने 4301 रन बनाए। उनके नाम 12 शतक, 18 अर्धशतक और 1 दोहरा शतक दर्ज है, जो उन्होंने 2019 में रांची में साउथ अफ्रीका के खिलाफ बनाया था। उनकी बल्लेबाजी औसत 40.57 रही और उन्होंने कुल 473 चौके और 88 छक्के जड़े। रोहित ने 2021 में विराट कोहली से टेस्ट कप्तानी की जिम्मेदारी संभाली थी और तब से भारत को टेस्ट क्रिकेट में एक नई रणनीतिक दिशा दी। कप्तान के तौर पर उन्होंने 24 टेस्ट मैचों में से 12 में जीत दिलाई, 9 में हार और 3 ड्रॉ रहे।

रोहित का आखिरी टेस्ट मैच दिसंबर 2024 में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ मेलबर्न में हुआ था। किसी को अंदाज़ा नहीं था कि वो आखिरी बार रोहित को सफेद जर्सी में खेलते देख रहे हैं। एक चैप्टर वहीं खामोशी से बंद हो गया। संन्यास के बाद रोहित शर्मा ने एक पत्रकार को दिए इंटरव्यू में भारतीय कमेंट्री पर नाराज़गी जाहिर की। उन्होंने कहा, “जब हम ऑस्ट्रेलिया में कमेंट्री सुनते हैं तो महसूस होता है कि खेल को समझाया जा रहा है, लेकिन भारत में ये सिर्फ मसाला बनकर रह गया है। किसी एक खिलाड़ी को टारगेट करना अब आम हो गया है।” उन्होंने यह भी कहा, “कमेंटेटर का काम खेल की समझ बढ़ाना होता है, न कि TRP के लिए ड्रामा फैलाना। लोग जानना चाहते हैं कि खिलाड़ी का फॉर्म क्यों गिर रहा है not उनकी निजी ज़िंदगी।” रोहित की यह टिप्पणी सिर्फ अपने लिए नहीं थी, बल्कि उन सभी खिलाड़ियों के लिए थी जिन्हें मीडिया और सोशल मीडिया के कटघरे में खड़ा कर दिया जाता है। उन्होंने एक तीखा लेकिन ज़रूरी संदेश दिया“कमेंटेटर को बोलने का अधिकार है, लेकिन उन्हें खिलाड़ियों के संघर्ष और मेहनत का सम्मान करना सीखना चाहिए।” अब रोहित शर्मा वनडे और टी20 में भारत के लिए खेलते रहेंगे, लेकिन टेस्ट क्रिकेट में उनका सफर यहीं खत्म हुआ। यह सिर्फ एक खिलाड़ी का संन्यास नहीं, बल्कि उस टेस्ट युग का अंत है जिसमें धैर्य, तकनीक और परिपक्वता की पूजा होती थी। एक फैन की आंखें भीग गईं, एक मां समझा नहीं सकी, और एक युग खामोशी से विदा हो गया। शायद भारत को फिर कभी एक रोहित शर्मा मिलेगा—but वो “हिटमैन” जो पहली ही पारी में 177 मारता है, जो साउथ अफ्रीका के खिलाफ दोहरा शतक ठोकता है, जो विराट के बाद टीम को संभालता हैवो अब सिर्फ यादों में रहेगा।

 

4.)  भारत का प्रहार, बलूचों का बगावत , पाकिस्तान चारों तरफ से तबाह 

 

भारत के साथ तनाव की तपिश झेल रहे पाकिस्तान के लिए अब उसके ही घर में बारूद सुलग उठा हैबलूचिस्तान में वर्षों से दबी आवाज अब बगावत बनकर पाकिस्तानी सेना के सामने खड़ी हो गई है। बलूच लिबरेशन आर्मी (BLA) ने शुक्रवार को बड़ा दावा करते हुए कहा कि उसने बलूचिस्तान की राजधानी क्वेटा में कई सैन्य पोस्टों पर कब्जा कर लिया है। BLA ने न सिर्फ पाकिस्तानी सेना को पीछे हटने पर मजबूर किया, बल्कि गैस पाइपलाइनों को भी उड़ा दिया। रिपोर्ट्स के अनुसार, शहर के कई इलाकों पर सेना ने नियंत्रण खो दिया है। सूत्रों के मुताबिक, क्वेटा में फ्रंटियर कॉर्प्स के मुख्यालय समेत कई प्रमुख सैन्य ठिकानों के पास जोरदार धमाके और गोलीबारी की आवाजें सुनी गईं। 

पाकिस्तानी सेना पर चौतरफा दबाव, लाचार होती हुकूमत

पाकिस्तान के लिए यह दोहरी मार है एक तरफ भारत से तनाव बढ़ रहा है, दूसरी तरफ देश के भीतर ही विद्रोहियों ने मोर्चा खोल दिया है बलूचिस्तान में यह हमला ऐसे समय हुआ है जब पाकिस्तान पहले से ही खैबर पख्तूनख्वा में तहरीक -ए-तालिबान पाकिस्तान (TTP) के हमलों से जूझ रहा है। बीते दिनों टीटीपी के हमलों में कई पाकिस्तानी सैनिक मारे गए थे। इस बीच, गुरुवार की रात पाकिस्तान ने भारत के जम्मू, पठानकोट और ऊधमपुर में सैन्य ठिकानों को ड्रोन और मिसाइल से निशाना बनाने की कोशिश की, लेकिन भारतीय सेना ने हमले को विफल करते हुए जवाबी कार्रवाई में लाहौर, रावलपिंडी और इस्लामाबाद तक को हिला दिया। बलूच लिबरेशन आर्मी ने एक दिन पहले ही बोलन क्षेत्र में सेना के काफिले पर बड़ा हमला किया था। रिपोर्ट के अनुसार, BLA के स्पेशल ऑपरेशन दस्ते ने रिमोट कंट्रोल IED से सेना के वाहन को निशाना बनाया, जिसमें 12 पाकिस्तानी जवानों की जान चली गई। संगठन से जुड़े मीडिया प्लेटफॉर्म ‘हक्काल’ ने इस हमले का वीडियो भी जारी किया है, जिसने पाकिस्तान में हलचल मचा दी है। भारत के साथ सीमा पर तनाव और भीतर से बलूचिस्तान व पख्तून क्षेत्र में बढ़ती बगावत पाकिस्तानी सेना अब हर मोर्चे पर घिरती नजर आ रही है। कूटनीतिक मोर्चे पर भी पाकिस्तान की हालत पतली है, जहां उसे अंतरराष्ट्रीय मंच पर जवाब देना मुश्किल होता जा रहा है।